बुलंदशहर: रिटायर्ड फौजी चांद खान की थी दो बेगम, दूसरी बेगम के नाम संपत्ति करने से खफा थी पहली बेगम, जिसने अपने भाई के साथ मिलकर डेढ़ लाख की सुपारी देकर अपने ही शौहर को उतरवा दिया मौत के घाट। सिटी क्षेत्र के ढकोली रोड पर 5 दिन पहले 21 जून को चांद खान का सड़क किनारे पड़ा हुआ मिला था शव, चांद खान हत्याकांड का महज 5 दिन में पुलिस ने किया सनसनीखेज खुलासा।
पहली बेगम और साला सहित तीन गिरफ्तार
चांद खान के पिता ने मामले की दर्ज कराई थी रिपोर्ट, जिस पर कार्यवाही करते हुए थाना कोतवाली नगर पुलिस ने सर्विलेंस की मदद से सात लोगों को किया था चिन्हित, जिसमें आज सिटी कोतवाल अजय कुमार शाही के नेतृत्व में पुलिस ने तीन आरोपियों पहली बेगम शबनम, साला फारूख और एक अन्य अजय उर्फ अज्जू को अवैध असला, कारतूस और हत्याकांड में प्रयुक्त की गई बाइक सहित किया गिरफ्तार। हालांकि अभी चार आरोपी फरार हैं।
गिरफ्तारी के बाद पहली बेगम ने खोला राज, क्यों और कैसे रची हत्या की साजिश
एसपी सिटी शंकर प्रसाद ने जानकारी दी कि पहली बेगम शबनम ने पूछताछ में बताया है कि मृतक चांद खान उसके साथ आये दिन मारपीट एवं अपनी सम्पत्ति को दूसरी पत्नी के नाम करने की धमकी देता था। जिससे तंग आकर शबनम ने अपने भाई फारुख को इस बात की जानकारी दी। इस पर फारुख ने कहां की मैं ऐसे लोगों को जानता हूँ जो पैसे लेकर चांद खान की हत्या कर देंगे।
फारुख ने अपने अन्य साथियों से बात की जो डेढ़ लाख रुपये में हत्या करने के लिए तैयार हो गये तथा 21,000 रुपये एडवांस में एक अभियुक्त के खाते में ट्रांसफर कर दिये गये। एक अभियुक्त ई-रिक्शा चलाता है। घटना से एक दिन पहले चांद खान के आने जाने के समय की रैकी की गयी तथा घटना वाले दिन योजनानुसार ई-रिक्शा चलाने वाला अभियुक्त, अन्य दो अभियुक्तों को अपनी ई-रिक्शा में बैठाकर चांद खान के घर के आगे-पीछे घुमता रहा तथा एक अभियुक्त मोटरसाईकिल से ई-रिक्शा के पीछे घुमता रहा। ई-रिक्शा चालक अभियक्त द्वारा मृतक को रिक्शा में बैठा लिया गया तथा योजनानुसार मदरसे के पीछे गोली मारकर चांद खान की हत्या कर दी गयी तथा वहां से फरार हो गये।
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News Editor: Dharmendra Mittal